Thursday, November 19, 2015

इश्क़ पर बेहतरीन हृदयस्पर्शी शायरी


हिन्दी शेरो-शायरी -
इश्क़ पर बेहतरीन हृदयस्पर्शी शायरी -


मरीजे इश्क़ पर रहमत खुदा की।
मर्ज बढ़ता गया ज्यूं ज्यूं न दवा की।।
-- नामालूम
अब इत्र भी मलो तो मोहब्बत की बू नहीं,
वो दिन हवा हुए कि जब पसीना गुलाब था।
-- माधोराम 'जौहर'
मकतबे-इश्क का 'मोमिन' है निराला दस्तूर,
उसको छुट्टी न मिली जिसको सबक याद हुआ।
-- नामालूम
इश्क ने ग़ालिब निकम्मा कर दिया,
वरना हम भी आदमी थे काम के।
-- मिर्जा ग़ालिब


Thursday, November 5, 2015

दीपावली विशेष 2015 : उजाले की शायरी


DEEPAWALI 2015 - BEST SHAYRI MESSAGE


रोशनी तेज करो चाँद सितारों अपनी,
मुझ को मंजिल पे पहुंचना है सहर होने तक।
-- फलक देहलवी

लोग लड़ते रहे रोशनी के लिए
घुप्प अंधेरों का साम्राज्य चलता रहा
दीप था मैं मगर मैं भी खुदगर्ज था,
अपने कमरे में चुपचाप जलता रहा।
-- प्रवीण प्रवाह

इतना सच बोल के होठों का तबस्सुम न बुझे,
रोशनी खत्म न कर आगे अंधेरा होगा।
-- निदा फ़ाजली

बुझा दो आज की शब बज्म के सारे चिरागों को,
रुखे रोशन के आगे रोशनी अच्छी नहीं लगती।
-- मोहसिन अली सुहैल

जहां रहेगा वहीं रोशनी लुटाएगा
किसी चिराग का अपना मकां नहीं होता.
-- वसीम बरेलवी